कांग्रेस पार्टी के विधान परिषद सदस्य प्रेम चंद्र मिश्रा ने भाजपा को जनता के प्रति असंवेदनशील बताते हुए उसके नेताओं के द्वारा मोदी सरकार के 6 वर्ष पूरा होने पर जश्न मनाने और सोशल मीडिया के द्वारा वर्चुअल रैली के आयोजन को राजनीति से प्रेरित कहा है।
उन्होंने कहा जहां राष्ट्रीय स्तर पर एक लाख और बिहार में अबतक लगभग 4 हजार लोग कोरोना से संक्रमित हैं और 5400 के करीब लोगों की मौत हो चुकी है तथा लॉक डाउन की वजह से सड़क और ट्रेन हादसे में 80 श्रमिकों की मौत हुई है वैसी सूरत में भाजपा द्वारा मोदी सरकार के 6 साल पूरे होने पर जश्न मनाने तथा श्री अमित शाह का वर्चुअल रैली करने का फैसला राजनीति से प्रेरित होने तथा जनता खासकर गरीबों श्रमिकों के प्रति उसके असंवेदनशील होने का प्रमाण है।
उन्होंने भाजपा से पूछा कि आखिर किस बात का वह जश्न मनाना चाहती है विगत 6वर्षों में देश मे सरकार के फैसलों से गरीबों,मजदूरों, किसानों,छात्रों, मध्यम वर्ग,निम्न मध्यम वर्ग के लोगों पे लगातार चोट और प्रहार हुआ है। मंहगाई बढ़ी है, बेरोजगारी बढ़ी है और करोड़ों की आबादी को अनेको प्रकार से कठिनाईओं का सामना करना पड़ा है क्या अमित शाह सहित उसके अन्य नेता वर्चुअल रैली के माध्यम से क्या कहेंगे बिहार के लोगों से? उन्हें ऐसे महामारी से उत्पन्न स्थिति में राजनीतिक भाषणों के बजाय बिहार के गरीबों,प्रवासी श्रमिकों,बेरोजगार युवकों के रोजगार के उपाय- प्रबंध और उनके खाते में तत्काल 10 हज़ार रुपये भेजने की व्यवस्था करनी चाहिए थी जो उनकी सरकार कर नही सकी तो जश्न मनाना और भावी चुनाव को ध्यान में रखकर भाषणबाजी को लोग अब बर्दाश्त नही करनेवाले हैं।
उन्होंने आज से आरंभ हुए लॉक डाउन 5 के अनलॉक 1की शुरुआत को बेहद हीं चिंताजनक बताया और कहा कि ऐसा लगा जैसे सरकार ने लोगों को अब भगवान के भरोसे छोड़ दिया हो क्योंकि कहीं से भी social Distancing तथा लॉक डाउन के अन्य प्रावधानों का पालन कराने की कोई भी कोशिश प्रशासन की तरफ से नज़र नही आया है जो अपने आप में संक्रमण बढ़ने के पर्याप्त संकेत दे रहे हैं। उन्होंने लोगों से आग्रह किया कि अपना खुद का ध्यान रखें और भीड़ भाड़ से बचें तथा हर हालत में social Distancing का पालन करें।
ब्यूरो रिपोर्ट, बिहार नाउ