प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को पोर्ट ब्लेयर के वीर सावरकर इंटरनेशनल एयरपोर्ट के नए टर्मिनल का वर्चुअली इनॉगरेशन किया।710 करोड़ की लागत से बनाया गए इस टर्मिनल में एक साथ 10 प्लेन पार्क हो सकेंगे। इसका डिजाइन शंख के आकार की संरचना जैसा है।
PM ने यहां मौजूद लोगों को संबोधित किया। उन्होंन इस प्रोजेक्ट के फायदे गिनाए फिर बेंगलुरु में विपक्षी दलों की हो रही बैठक पर भी अपनी बातें रखीं।
PM ने कहा- बेंगलुरु में 2024 लोकसभा चुनाव के लिए 26 दल इकट्ठा हुए हैं। देश की जनता कह रही है कि ये तो कट्टर भ्रष्टाचारी सम्मेलन हो रहा है।
बेंगलुरु में हो रही 26 विपक्षी दलों की बैठक को लेकर पीएम ने कहा- उनकी दुकान में भ्रष्टाचार की गारंटी है। इसमें जेल जाने वालों को खास न्योता भेजा गया है। विपक्ष पर निशाना साधते हुए पीएम ने कुछ लाइनें भी पढ़ी।
पीएम ने कहा- ये लोग देश के लोकतंत्र और संविधान को अपना बंधक बनाना चाहते हैं। इनके लिए मैं ये ही कहना चाहूंगा नफरत है घोटाले हैं, तुष्टीकरण है मन काले हैं, परिवारवाद की आग के दशकों से देश हवाले है।
पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा- आज देश की जनता ने तय कर लिया है कि हमें 2024 में वापस लाना है। इसलिए जो लोग भारत की दुर्दशा के लिए जिम्मेदार हैं, उन्होंने अपनी दुकानें खोल ली हैं। 24 के लिए 26 होने वाले राजनीतिक दलों पर यह बड़ा फिट बैठता है।
ये गाना तो कोई और गा रहे हैं लेकिन हकीकत कुछ और है। लेबल किसी और चीज का लगा है लेकिन प्रोडक्ट किसी और का है। इनकी दुकानों पर जातिवाद का जहर और जबरदस्त भ्रष्टाचार की गारंटी है।
विपक्षी एकजुटता को लेकर पीएम ने कहा, इनका सिर्फ एकए जेंडा है, परिवार बचाओ और भ्रष्टाचार बढ़ाओ। उनके लिएप रिवार पहले, देश बाद में है। न खाता न बही, जो कहे वही सही। लोकतंत्र लोगों का, लोगों द्वारा और लोगों केलिए होता है। लेकिन वंशवादी राजनीतिक दलों के लिए,लेकिन वंशवादी राजनीतिक दलों के लिए, सबकुछ परिवार का है, परिवार द्वारा है और परिवार के लिए है। देश वंशवादी राजनीति की आग का शिकार है।
पीएम ने विपक्षी दलों के घोटाले को लेकर कहा, ये जो जमात इकट्ठी हुई है, उनके कुनबे में बड़े से बड़े घोटालों पर, अपराधों पर इनकी जुबान बंद हो जाती है।
जब किसी एक राज्य में इनके कुशासन की पोल खुलती है, तो दूसरे राज्यों के ये लोग फौरन उसके बचाव में तर्क देने लगते हैं। पश्चिम बंगाल में हुए पंचायत चुनाव में सरेआम हिंसा हुई, लगातार खून-खराबा हो रहा है, इस पर कोई नहीं बोला।