खुशी के साथ- साथ बढ़ते हुए जिम्मेदारी का भी बोझ है- DIG विकास वैभव
DIG विकास वैभव को सत्येंद्र कुमार दुबे मेमोरियल अवॉर्ड के लिए चयन किया गया है .2 नवंबर 2019 को उनको सम्मानित किया जाएगा .DIG विकास वैभव ने बिहार नाउ से बात करते हुए कहा की यह खुशी का पल तो है ही, लेकिन उससे कहीं ज्यादा बढ़ते हुए जिम्मेदारी का भी बोझ है .जो एक चुनौती भी है .सत्येंद्र कुमार दुबे जी हमारे आदर्श रहे हैं ,ऐसे में यह अवार्ड मिलना मुझे उच्च आदर्श के लिए प्रेरित करता है…
IIT कानपुर द्वारा दिये जाने वाले प्रतिष्ठित 2019 सत्येंद्र कुमार दूबे मेमोरियल पुरस्कार के लिए बिहार कैडर के आईपीएस विकास वैभव का चयन हुआ है। विकास वैभव को उनके अल्मा मेटर को लेकर चयनित किया गया है। वैभव को मानवीय मूल्यों को धारण करते हुए, इमानदारी, कर्तव्यनिष्ठा व उनकी सर्वोच्च व्यावसायिक अखंडता को लेकर इस पुरस्कार के लिए चुना गया है। उन्हें 2 नवंबर को IIT परिसर में सत्येंद्र कुमार दूबे अवार्ड से नवाजा जायेगा।
IIT के छात्र रहे सत्येंद्र दूबे NHAI में कार्य करते हुये बिहार के गया में पोस्टेड थे तो वर्ष 2003 में उनकी गया में हत्या कर दी गयी थी। उसी के बाद से 2005 से इस पुरस्कार की शुरुवात की गयी थी। वर्ष 2005 में सबसे पहले यह पुरस्कार दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को मिल चुका है। बिहार के एक IAS कुलदीप नारायण भी यह पुरस्कार पा चुके हैं।
विकास वैभव 2003 बैच के बिहार कैडर के आईपीएस अधिकारी है। वर्तमान में वे भागलपुर रेंज के डीआईजी के पद पर तैनात हैं।